Antarvasna-Kamukta

रंडी माँ की चुदक्कड़ बेटी

हैल्लो दोस्तों, एक बार मेरा तबादला कुछ महीनों के लिए बनारस के एक छोटे से गाँव में हुआ था antarvasna Kamukta Hindi Sex Stories तो वहाँ मुझे मेरे दफ़्तर के कर्मचारी के सहयोग से एक मकान किराए पर मिल गया था। मेरा मकान मालिक राधेश्याम 48 साल का है और वो एक प्राइवेट दफ़्तर में काम करते है। उनकी बीवी माधवी 46 साल की है और वो एक प्राइवेट हॉस्पिटल में काम करती है और उनकी दो बेटियाँ संगीता और सानिया पढ़ती है। संगीता 20 साल की है और कॉलेज में Ist ईयर में है, सानिया 18 साल की है और स्कूल में पढ़ती है। सानिया एकदम पतली लड़की है, उसकी चूची 30, कमर 24 और गांड 28 की है। में कुछ ही दिनों में ही उन लोगों से काफ़ी घुलमिल गया था, वो लोग भी मुझे उस घर का एक सदस्य ही मानते थे। सानिया अक्सर शाम को मेरे पास पढ़ने आती है, वो रात 8 बजे से 11 तक मेरे कमरे में पढ़ती है, में उसे साइन्स और गणित पढ़ाता हूँ।

फिर एक बार राधेश्याम 15 दिनों के लिए दफ़्तर के काम से मुंबई गये थे। यह उस दिन की बात है जब राधेश्याम को गये हुए 2 दिन ही हुए थे। अब सानिया मुझसे पढ़ रही थी और में उसकी कॉपी चैक कर रहा था कि एक कागज उसकी कॉपी से गिरा तो मैंने उसे उठाया और सानिया ने घबराकर वो कागज मुझसे ले लिया। फिर मैंने भी उसके हाथ से वो कागज वापस खींच लिया और देखने लगा, वो किसी गंदी किताब का चुदाई करते हुए का फोटो था। अब यह देखते ही मेरा दिमाग सन्न से रह गया था। फिर मैंने सानिया को ऊपर से नीचे तक देखा और वो एकदम अधखिली कली थी और ये सोचकर मुझे एक और झटका लगा कि कहीं उसने सब कुछ कर तो नहीं लिया और अगर कर लिया होगा तो वो आदमी कितना खुशनसीब होगा, जो इतनी प्यारी कच्ची कली उसे मिली। अब मुझे सानिया एक माल नजर आने लगी थी, अब मेरा लंड खड़ा हो गया था।

फिर मैंने सानिया से पूछा कि ये तुम्हें कहाँ से मिला? तो वो डरते हुए बोली कि मेरी एक सहेली ने दिया था, तो मैंने कहा कि ये सब माँ को बता दूँ? तो वो रोने लगी और बोली कि मत बताओ भैया। फिर मैंने कहा कि तुम जानती हो ये सब क्या है? तो वो कुछ नहीं बोली। फिर मैंने कहा कि जो में पूछता हूँ एकदम सच बताओगी तो में किसी को नहीं कहूँगा। फिर उसने अपना सिर हिलाकर हामी भर दी। फिर मैंने पूछा कि क्या किसी ने तुम्हारे साथ अब तक कुछ किया है? तो वो कुछ नहीं बोली। फिर मैंने कहा कि सच बता दो, नहीं तो सोच लो क्या होगा? तो वो बोली कि बस एक लड़के ने गले लगाया और किस किया है, तो मैंने कहा कि और? तो उसने कुछ जबाब नहीं दिया। फिर मैंने उसकी छोटी सी चूची पर अपना हाथ रखकर थोड़ा कड़क शब्दों में पूछा कि ये भी दबाता है? तो उसने सिर्फ़ हुउऊँ कहा तो मैंने उसकी स्कर्ट के ऊपर से ही उसकी चूत दबाते हुए पूछा कि इसमें भी कुछ किया है क्या? तो वो कुछ नहीं बोली।

फिर मैंने उसे खींचकर अपनी गोद में बैठा लिया और पूछा कि सच बताओ नहीं तो में सबको बता दूँगा। फिर मैंने उसका टॉप उठाया और उसकी नन्ही सी चूची को सहलाने लगा तो मैंने देखा कि उसकी चूची की निप्पल तन गयी थी। अब मुझमें हिम्मत आ गयी थी कि उसे मज़ा आ रहा है और अब उसकी छोटी सी टेनिस की बॉल की साईज़ की गोरी सी चूची ने मुझे मदहोश कर दिया था। फिर में उसकी चूची पर अपना मुँह लगाकर चूसने लगा तो मैंने देखा कि वो गर्म हो गयी है। फिर मैंने उससे पूछा कि सानिया मज़ा आ रहा है? तो वो ज़ोर से मुझसे लिपट गयी। फिर मैंने उससे कहा कि वो सब करोगी? तो उसने अपना मुँह छुपाकर हाँ कहा। अब मुझे तो मेरे मन की मुराद मिल गयी थी एक 18 साल की कच्ची कली। फिर में उसे बेड पर ले आया और पहले तो उसे खूब चूमा और चाटा। फिर मैंने अपने कपड़े उतार दिए और अब में सिर्फ़ अपनी अंडरवियर पहने हुए था और फिर मैंने उसे भी पूरा नंगा कर दिया, कमाल का बदन था उसका, उसकी चूत पर रेशम से भूरे बाल, एकदम चिपकी हुई गुलाबी फांको वाली टाईट चूत। अब मुझसे बर्दाश्त नहीं हुआ तो मैंने उसकी चूत पर अपना मुँह लगा दिया और अपनी जीभ से उसकी चूत की फाँको चाटने लगा। अब वो और भी गर्म हो गयी थी और उसका बदन कसमसाने लगा था। अब में अपनी जीभ को उसकी चूत में जहाँ तक ले जा सकता था घुसा-घुसाकर चाट रहा था। अब वो अपनी दोनों टागों को मेरी गर्दन में लपेटे हुई थी। फिर लगभग 40 मिनट तक मैंने उसे चाटा और तब जाकर उसकी चूत ने पानी छोड़ा, वो पानी छूटने का मज़ा पहली बार ले रही थी। अब वो इतनी गर्म हो गयी थी कि वो मेरे सिर को अपने हाथ से पकड़कर अपनी चूत में दबाते हुए कहने लगी कि भैया और ज़ोर से आआ उउउइईईईईई, आहह उूउउम्म्म्मममम करके ढीली हो गयी।

फिर में उठ गया और उसके होंठ चूसने लगा तो तब तक मेरे लंड ने भी जबाब दे दिया। फिर मैंने अपना लंड बाहर निकाला और सानिया के मुँह के पास ले जाकर कहा कि इसे चूसो, तो उसने मेरे लंड को अपने मुँह में ले लिया। अब मेरा लंड उसके मुँह में घुस नहीं पा रहा था और वो बस मेरे सुपाड़े को चाट चूस रही थी। फिर जल्दी ही मेरे लंड ने उसके मुँह में पिचकारी छोड़ दी और अब उसका पूरा मुँह मेरे लंड के माल से भर गया था। फिर मैंने अपनी हथेली से मेरे लंड का सारा माल उसके चेहरे पर लगा दिया और सानिया से पूछा कि कैसा लगा? तो वो बोली कि हाँ बहुत मज़ा आया। फिर मैंने कहा कि अभी लंड चूत में कहाँ डाला? जब लंड से चुदोगी तो बहुत मज़ा आएगा। फिर उसने जबाब दिया कि चोदीए ना जल्दी से, तो मैंने कहा कि ज़रूर मेरी जान, तुझ जैसी कली को चोदकर मेरा लंड तृप्त हो जाएगा, लेकिन अब ये बता कि ये सब तुमने कहाँ से सीखा? तो उसने बताया कि उसने मम्मी को अक्सर चुदाई करते हुए देखा है। दोस्तों ये कहानी आप चोदन डॉट कॉम पर पड़ रहे है।

फिर मुझे आश्चर्य हुआ और उससे पूछा कि कैसे और कब देखा तुमने? तो उसने बताया कि पड़ोस के अंकल जब आते है, तो मम्मी को चोदते है और गंदी बातें करते है। अब मेरा दिमाग़ सन्न रह गया था कि माँ को पड़ोस के अंकल चोदते है। फिर मैंने उससे पूछा कि वो क्या बातें करते है? और कब चोदते है? तो वो बोली कि अंकल जब भी आते है, तो मम्मी को चोदते है और मम्मी को रंडी, कुत्तियाँ, हरामजादी कहते है, दीदी अंकल की ही बेटी है, अंकल दीदी को भी चोदना चाहते है, मम्मी भी तैयार है मम्मी ने कहा है कि जब मौका होगा और घर खाली मिले तो चोद देना। फिर एक दिन जब पापा घर पर नहीं थे और जब दीदी सो रही थी, तो अंकल ने कई बार उसकी चूची भी दबाई थी और मेरी भी दबाई थी। अंकल अक्सर जब पापा दूसरे शहर जाते है तो तब आते है, तो में सोती नहीं हूँ और सोने का नाटक करके उनकी बातें सुनती हूँ और उनकी हरकते देखती हूँ। अंकल मम्मी की गांड भी चोदते है, मम्मी को उनकी एक सहेली के पति ने भी चोदा है।

अब मेरा तो दिमाग़ ये सब सुनकर सन्न रह गया था, अब मैंने सोच लिया था कि में संगीता को भी चोदूंगा, लेकिन पहले सानिया की चूत का मज़ा ले लूँ। फिर मैंने सानिया से कहा कि तुम तो बहुत समझदार हो गयी हो, अभी से सब कुछ सीख गयी हो, अब ये बताओ किसी ने तुम्हें चोदा है? तो वो बोली कि नहीं चोदा। फिर मैंने कहा कि तुम जैसी कच्ची कली का स्वाद लेने के लिए कोई भी कुछ कर सकता है। आज से तुम मेरी रंडी हो और में जल्द ही संगीता को भी रंडी बना दूँगा तो तब तुम्हें आसानी होगी, मुझे आज पता चला कि तुम्हारी माँ, बहन सब रंडी है। में तुम तीनों को चोदूंगा, लेकिन सबसे पहले में तेरी चूत का भोसड़ा बनाऊंगा। फिर वो बोली कि इतने गुस्से में क्यों हो भैया? आओ और मेरी चूत में अपना लंड डालकर मुझे चोदो, ये मेरी खुशकिस्मती है कि मेरी चूत की सील आपके मोटे और लंबे लंड से टूटेगी।

फिर मैंने कहा कि हाँ कुत्तियाँ आज में तेरी वो चुदाई करूँगा कि तू याद रखेगी। फिर वो बोली कि आ जाओ ना, मैंने कब मना किया है? में आज अपनी चूत की प्यास आपके लंड से मिटाऊँगी। फिर मैंने कहा कि हरामजादी खूब बोलना सीख गयी, चल आज में तुझे पूरी रंडी बना देता हूँ और यह कहकर मैंने उस कच्ची कली को अपनी गोद में बैठा लिया और उसकी चूची को मसलना चालू कर दिया। अब मेरा लंड उसकी गांड में लगा हुआ था। फिर मैंने उसे सीधा लेटा दिया और उसके ऊपर आ गया और बोला कि साली आज ऐसे ही डालूँ या तेल या क्रीम लगाकर? तो वो बोली कि जैसे जी चाहे चोद लो, लेकिन जल्दी करो मेरी चूत में बहुत खुजली हो रही है। फिर मैंने कहा कि हाँ मेरी जान, ले अभी तेरी चूत का बाजा बजाता हूँ और यह कहकर में क्रीम ले आया और उसकी मखमल जैसी कुँवारी चूत के अंदर क्रीम भर दी और थोड़ी क्रीम अपने लंड पर भी लगा ली। फिर में उसके ऊपर लेट गया और उसकी दोनों पतली टांगो को अपनी कमर पर लपेट लिया और अपने लंड के सुपाड़े को उसकी चूत के छेद में फंसाया और हल्का सा दबाव दिया तो उसकी चूत की फाँक इतनी टाईट थी कि मेरा लंड फिसलकर उसकी गांड की तरफ चला गया।

फिर मैंने अपने लंड को उसकी चूत पर लगाया और जोर से एक धक्का मारा तो वो उूउउइईईईईईईईईईई करके ज़ोर से चीखी तो मैंने उसका मुँह अपने मुँह से बंद कर दिया और फिर एक धक्का मारा तो मेरे लंड का सुपाड़ा उसकी चूत के अंदर चला गया और वो छटपटाने लगी। फिर मैंने उसकी टागों को उतार दिया तो वो मुझे हटाने लगी, लेकिन वो कमसिन कितना ज़ोर लगाती? मैंने उसे बहुत मजबूती से जकड़ रखा था और बिना उसकी परवाह किए जोर से एक धक्का मारा, तो उसकी आआआआ उउम्म्म्म की आवाज़ दबकर रह गयी और मेरा लंड उसकी सील को तोड़ता हुआ अंदर घुस गया। अब वो छटपटा रही थी और अब में वैसे ही दबाब बनाते हुए रुका था और अब उसकी आँखो से आँसू निकल रहे थे।

फिर मैंने अपना मुँह उसके मुँह से हटाया तो वो ज़ोर-ज़ोर से रोने लगी और बोली कि में नहीं चुदवाऊँगी, मुझे छोड़ दो, तो मैंने कहा कि साली अभी तो लंड लेने के लिए चिल्ला रही थी और अब रो रही है, तो वो बोली कि मुझे नहीं मालूम था कि इतना दर्द होगा, मेरी चूत फट गयी, मुझे छोड़ दो प्लीज़। फिर मैंने कहा कि अब लंड घुस ही गया है तो चोदकर ही छोड़ूँगा। फिर में धीरे-धीरे उस कच्ची कली की चूत में अपना लंड चलाने लगा, अब मेरा मोटा लंड उसकी टाईट चूत में पिस्टन की तरह चल रहा था। अब वो दर्द से कराह रही थी कि मैंने चोदना रोक दिया और अपने लंड को उसकी चूत में ही रहने दिया और उसकी नन्ही सी चूची को चूसने लगा, तो कभी उसके होंठ चूसता, तो कभी उसके चेहरे को चाटता, तो कभी उसकी चूची मसलता, इस तरह से आधे घंटे तक में उसे चूसता चाटता रहा।

फिर जब मुझे लगा कि अब उसे दर्द नहीं हो रहा है, तब मैंने अपने लंड को फिर से उसकी टाईट चूत में आगे-पीछे करना चालू कर दिया। फिर लगभग 10 मिनट तक में उसे धीरे-धीरे चोदता रहा और तब उसने अपनी दोनों टांगे मेरी कमर पर लपेट ली। फिर मैंने अपनी स्पीड थोड़ी और बढाई तो 5 मिनट में ही उसके मुँह से आहहह उहहहह की आवाजे निकलनी शुरू हो गयी। अब मैंने उससे कहा कि कैसा लग रहा है मेरी जान? तो वो बोली कि अब दर्द नहीं हो रहा है, थोड़ा तेज चोदो। फिर मैंने अपनी स्पीड थोड़ी और बढ़ा दी और उसके होंठ चूसने लगा। अब वो भी मेरा होंठ चूसने में साथ देने लगी थी। फिर उसके बाद अचानक से उसने अपना बदन कड़क कर लिया और आआआआआ उूउउउउ उईईईईईईईई करने लगी, तो मैंने भी अपने धक्को की रफ़्तार बहुत तेज़ कर दी। फिर वो एकदम सुस्त हो गयी और फिर मेरे लंड ने भी अपना सारा पानी छोड़ दिया और सारा रस उसकी चूत में भर दिया और उस पर निढाल होकर थम गया।

फिर 15 मिनट तक वैसे ही पड़े रहने के बाद में उठा और उसे भी उठाया और फिर हम दोनों बाथरूम में चले गये। फिर बाथरूम में हम दोनों ने लंड और चूत को साफ किया और फिर में उस कच्ची कली के बदन को सहलाने लगा, जिससे मेरा लंड फिर से खड़ा हो गया। फिर मैंने उससे पूछा कि और चुदवाओगी? तो वो बोली कि हाँ क्यों नहीं? अब तो जितना जी चाहे चोदो, अब तो में तुम्हारी हो गयी हूँ। फिर मैंने कहा कि लगता है कि तुम्हें मेरे लंड का स्वाद लग गया है, अभी थोड़ी देर पहले तो चिल्ला रही थी कि नहीं चुदवाना है और अब लंड लेने के लिए मेरी रंडी बन रही हो, लेकिन इस वक़्त रात के 10 बज रहे है और अब डिनर का भी समय हो गया था और उस दिन मेरा लंड कच्ची कली को पाकर तृप्त हो गया था, इसलिए मेरा उसे चोदने का कोई मन नहीं हुआ और सो गया ।।

धन्यवाद …